विक्रमोत्सव में 1000 ड्रोन से बनेगी महाकाल की आकृति

मध्य प्रदेश के उज्जैन में महाशिवरात्रि पर्व 26 फरवरी से विक्रमोत्सव-2025 की शुरुआत होगी। सृष्टिकर्ता महादेव के महोत्सव से सृष्टि के आरंभ दिवस वर्ष प्रतिपदा 30 मार्च तक चलने वाला विक्रमोत्सव, सम्राट विक्रमादित्य के युग, भारत उत्कर्ष, नवजागरण और भारत विद्या पर केंद्रित रहेगा। इसके अंतर्गत साहित्यिक-सांस्कृतिक कार्यक्रमों के साथ ही ज्योतिर्विज्ञान, विचार गोष्ठियां, इतिहास और विज्ञान समागम, विक्रम व्यापार मेला, लोक और जनजातीय संस्कृति पर आधारित गतिविधियां संचालित होंगी।
26 फरवरी को महाशिवरात्रि पर्व पर उज्जैन में मध्यप्रदेश सरकार द्वारा आयोजित किए जा रहे विक्रमोत्सव का शुभारंभ होगा। इस अवसर पर शाम को उज्जैन के आसमान में एक साथ हजारों ड्रोन उड़कर भगवान शिव की अलग-अलग आकृति बनाएंगे। इस तरह का ड्रोन शो मध्य प्रदेश में पहली बार होने जा रहा है।
महाशिवरात्रि पर्व पर महाकाल नगरी में एक साथ 1000 से ज्यादा ड्रोन उड़ेंगे। आसमान में भगवान शिव की आकृति और उनसे जुड़े प्रतीक चिह्न रंगारंग रूप में दिखाई देंगे। शहर के लोगों को ये पहली बार देखने को मिलेगा। 125 दिनों के विक्रमोत्सव के शुभारंभ समारोह में संस्कृति विभाग के अंतर्गत महाराजा विक्रमादित्य शोधपीठ द्वारा यह ड्रोन शो आयोजित किया जा रहा है।
ड्रोन शो में एक साथ ड्रोन उड़ाकर उन्हें एनिमेटेड किया जाता है। ड्रोन को कंप्यूटर प्रोग्राम के ज़रिए कंट्रोल किया जाएगा। शो रात में किया जाएगा। फिलहाल यह तय नहीं किया गया है कि ड्रोन शो कहां होगा। ड्रोन शो को भगवान शिव के भजनों के साथ भी सिंक्रोनाइज्ड किया जाएगा।






